एक दूसरे से $5 \times {10^{ - 11}}\,m$ की दूरी पर स्थित इलेक्ट्रॉन एवं प्रोटॉन के मध्य स्थिर वैद्युत बल और गुरूत्वाकर्षण बल का अनुपात होगा (इलेक्ट्रॉन पर आवेश = $1.6 × 10 {^{-{19}}}\, C$, इलेक्ट्रॉन का द्रव्यमान $9.1 × 10 {^{-{31}}}$ $kg$, प्रोटॉन का द्रव्यमान = $1.6 \times {10^{ - 27}}\,kg,$ $\,G = 6.7 \times {10^{ - 11}}\,N{m^2}/k{g^2}$)

  • A

    $2.36 \times 10^{39}$

  • B

    $2.36 \times 10^{40}$

  • C

    $2.34 \times 10^{41}$

  • D

    $2.34 \times 10^{42}$

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शुद्ध जल का परावैद्युतांक $81$ है, तो इसकी वैद्युतशीलता होगी

$5 \times {10^{ - 11}}\,C$ एवं $ - 2.7 \times {10^{ - 11}}\,C$ के दो आवेश एक दूसरे से $0.2$ मीटर की दूरी पर स्थित हैं। इन दोनों को जोड़ने वाली रेखा पर एक तीसरा आवेश $ - 2.7 \times {10^{ - 11}}\,C$ से कितनी ......मीटर दूरी पर रखा जाये कि उस पर कार्यरत कुल बल शून्य हो

आवेशित गोलीय संधारित्र के दो गोलों के मध्य विद्युत क्षेत्र का परिणाम

दो बिन्दु आवेश $ + 3\,\mu C$ एवं $ + 8\,\mu C$ एक दूसरे को $40\,N$ के बल से प्रतिकर्षित करते हैं। यदि $ - 5\,\mu C$ का आवेश प्रत्येक में और जोड़ दिया जाये तो इनके मध्य लगने वाला बल ........$N$ हो जायेगा

समान त्रिज्याओं के दो गोलाकार चालकों $B$ एवं $C$ पर आवेश की मात्रा समान है तथा उन्हें एक-दूसरे से कुछ दूर रखने पर उनके बीच लगने वाला प्रतिकर्षण बल $F$ है । उतनी ही त्रिज्या वाले एक अन्य अनावेशित चालक का संपर्क पहले $B$ से कराते हैं और फिर $C$ से संपर्क कराकर उसे हटा दिया जाता है । $B$ तथा $C$ के बीच लगने वाला बल अब कितना होगा

  • [AIEEE 2004]