दो समांतर लंबे तार जिनमें प्रत्येक में $xA$ विद्युत धारा एक ही दिशा में प्रवाहित हो रही है, एक दूसरे से $0.20\,m$ की दूरी पर रखे हैं। यदि प्रत्येक तार की एकांक लम्बाई पर आकर्पण बल $2 \times 10^{-6} N$ है, तो $x$ का मान लगभग होगा-
$1$
$2.4$
$1.4$
$2$
चित्रानुसार एक लम्बे सीधे तार से एक अपरिवर्ती (स्थिर) धारा $I _{1}$ प्रवाहित हो रही है। इस तार से $d$ दूरी पर, क्षैतिज तल में, एक वर्गाकार लूप (पाश) रखा है, जिससे एक स्थिर (अपरिवर्ती ) धारा $I$ प्रवाहित हो रही है। तो, लूप (पाश) पर :
दो पतले एवं लम्बे तार एक दूसरे के समान्तर $b$ दूरी पर स्थित हैं। प्रत्येक तार में से $i$ धारा बह रही है। एक तार द्वारा दूसरे तार की प्रति इकाई लम्बाई पर आरोपित बल होगा
चित्र में दर्शाए अनुसार $a$ भुजा वाला एक वर्गाकार विद्युत् चालक तार की कुण्डली $x$ - अक्ष के समान्तर चलते हुए, $b$ भुजा $(a < b)$ वाले एक अन्दर की ओर है। जैसे-जैसे कुंडली इस चुम्बकीय क्षेत्र से गुजरेगी, $x$ के सापेक्ष उसकी चाल $(v)$ निम्न में से कौन से आरेख द्वारा सही निरूपित होगी ?
चित्र में दिखाई गई आयताकार कुण्डली पर परिणामी बल है
एक तार जिसमें $8\,A$ विध्यूत धारा प्रवाहित हो रही है, $0.15\, T$ के एकसमान चुंबकीय क्षेत्र में, क्षेत्र से $30^{\circ}$ का कोण बनाते हुए रखा है। इसकी एकांक लंबाई पर लगने वाले बल का परिमाण और इसकी दिशा क्या है?