लोहे के परमाणुओं के बीच की माध्य दूरी $3 \times {10^{ - 10}}$ मीटर है एवं लोहे के लिए अन्तरापरमाण्विक नियतांक $7\,N\,/m$ है। लोहे के लिए यंग प्रत्यास्थता गुणांक है
$2.33 \times {10^5}\,N/{m^2}$
$23.3 \times {10^{10}}\,N/{m^2}$
$233 \times {10^{10}}\,N/{m^2}$
$2.33 \times {10^{10}}\,N/{m^2}$
निम्नलिखित दो कथनों को ध्यान से पढिये और कारण सहित बताइये कि वे सत्य हैं या असत्य :
$(a)$ इस्पात की अपेक्षा रबड़ का यंग गुणांक अधिक है;
$(b)$ किसी कुण्डली का तनन उसके अपरूपण गुणांक से निर्धारित होता है।
समान लम्बाई और त्रिज्या के दो तारों का पंक्ति बनाते हुए उनके सिरों से जोड़ा और भारित किया गया है। दोनों तारो के यंग प्रत्यास्थता गुणांक $Y_{1}$ और $Y _{2}$ है। यह संयोजन एकल तार की भांति व्यवहार करता है, तब इसका यंग प्रत्यास्थता गुणांक है।
$CGS$ प्रणाली में स्टील का यंग प्रत्यास्थता गुणांक $2 \times {10^{12}}$ है। एक इकाई अनुप्रस्थ काट के स्टील के तार की किसी लम्बाई को दोगुनी करने के लिये निम्न बल की आवश्यकता है
अविस्तारित $L$ लम्बाई की एकसमान शंकुनुमा तार के सिरों की त्रिज्या क्रमशः $R$ तथा $3R$ हैं। उसकी धातु का यंग-माडुलस $Y$ है। $R$ त्रिज्या वाले सिरे को एक ढृढ़ आधार पर जड़ित किया गया है तथा दूसरे सिरे पर $M$ द्रव्यमान लटकाया गया है। संतुलन-अवस्था में तार की लम्बाई होगी
चार समान खोखले बेलनाकार मदु इस्पात स्तम्भ $50 \times 10^{3}$ किलाग्राम के भारी संरचना को संभालते हैं। प्रत्येक स्तम्भ की आन्तरिक तथा बाह्य त्रिज्याएं क्रमशः $50$ सेमी. तथा $100$ सेमी. है। समान स्थानीय वितरण मानते हुए स्तम्भ के सम्पीडन विकति की गणना कीजिए। $\left[ Y =2.0 \times 10^{11} \,Pa , g =9.8\right.$ मी/से.$^2$ का उपयोग करे]