एक लम्बे धारावाही चालक से $4$ सेमी की दूरी पर स्थित बिन्दु $P$ पर चुम्बकीय क्षेत्र की तीव्रता ${10^{ - 8}}$ टेसला है। उतनी ही धारा से $12$ सेमी की दूरी पर स्थित बिन्दु पर चुम्बकीय क्षेत्र होगा
$3.33 \times {10^{ - 9}}\,$ टेस्ला
$1.11 \times {10^{ - 4}}$ टेस्ला
$3 \times {10^{ - 3}}\,$ टेस्ला
$9 \times {10^{ - 2}}\,$ टेस्ला
दो वृत्ताकार चापों तथा त्रिज्यक रेखाओं से बना एक धारा पाशा चित्र में दिखाया गया है। पाश में $10\, A$ की धारा प्रवाहित हो रही है। बिन्दु $O$ पर चुम्बकीय क्षेत्र का सन्निकट मान होगा :
एक लम्बे धारावाही चालक तार जिसमें $i$ धारा बह रहीे है से $r$ दूरी पर चुम्बकीय क्षेत्र की तीव्रता $0.4$ टेस्ला है। $2r$ दूरी पर तीव्रता.........टेस्ला होगी
एक धारा लूप $A B C D$ कागज के तल पर स्थिर रखा गया है, जैसा कि चित्र में दिखाया गया है। लूप के चाप $B C$ (त्रिज्या $= b$ ) और चाप $D A($ त्रिज्या $=a$ ) को दो सीधे तारों $A B$ और $C D$ से जोड़ा जाता है। लूप में एक स्थिर धारा $I$ प्रवाहित हो रही है। $A B$ और $C D$ द्वारा मूल बिन्दु $O$ पर बना कोण $30^{\circ}$ है। एक अन्य सीधा पतला तार, जिसमें कागज़ के तल से बाहर स्थिर धारा $I_{1}$ प्रवाहित हो रही है, मूल बिन्दु पर रखा गया है।
मूल बिन्दु पर धारा $I_{1}$ की उपसि्थति के कारण
वायु में रखे $1$ मी. भुजा के एक वर्गाकार लूप में प्रवाहित धारा $5 \mathrm{~A}$ हैं लूप के केन्द्र पर चुंबकीय क्षेत्र $\mathrm{X} \sqrt{2} \times 10^{-7} \mathrm{~T}$ है। $\mathrm{X}$ का मान. . . . . . . . है।
$r$ त्रिज्या वाली एक वृत्ताकार कुण्डली में धारा $l$ प्रवाहित हो रही है, इनके केन्द्र पर चुम्बकीय क्षेत्र की तीव्रता ${B_1}$ है। एक दूसरी कुण्डली, जिसकी त्रिज्या $2 r$ है तथा समान धारा $I$ बहती है, एवं इसके केन्द्र पर चुम्बकीय क्षेत्र की तीव्रता ${B_2}$ है। ${B_1}$व ${B_2}$ का अनुपात $\frac{{{B_1}}}{{{B_2}}}$ होगा