यदि परावैद्युतांक तथा परावैद्युत क्षमता को क्रमश: $k$ और $x$ से दर्शाया जाता है, तो संधारित्र में प्रयुक्त परावैद्युतांक की विशेषता होना चाहिए
उच्च $k$ तथा उच्च $x$
उच्च $k$ तथा निम्न $x$
निम्न $k$ तथा निम्न $x$
निम्न $k$ तथा उच्च $x$
धारिता $15 \mathrm{pF}$ वाले एक समान्तर पट्ट संधारित्र की प्लेटों के मध्य वायु है। प्लेटो के मध्य दूरी आधी कर दी जाती है तथा उनके मध्य रिक्त स्थान को परावैद्युतांक $3.5$ वाले माध्यम से भरा जाता है तो धारिता $\frac{\mathrm{x}}{4} \mathrm{pF}$ हो जाती है। $\mathrm{x}$ का मान ज्ञात कीजिए।
किसी पतली धातु की पत्ती से बनाये गये संधारित्र की धारिता $2\,\mu F$ है। यदि पत्ती को $0.15\,mm$ मोटाई के कागज के साथ मोड़ दिया जाये जबकि कागज का परावैद्युतांक $2.5$ एवं कागज की चौड़ाई $400\,mm$ हो तो पत्ती की लम्बाई.......$m$ होगी
एक समान्तर-पट्टिका संधारित्र की पट्टिकाओं के मध्य $1$ मिलीमीटर मोटा और परावैद्युतांक $4$ वाला कागज लगा हुआ है। $100$ वोल्ट पर इसे आवेशित किया गया है। इस संधारित्र की पट्टिकाओं के मध्य विद्युत क्षेत्र का मान वोल्ट/मीटर में होगा
वर्गाकार प्लेटों वाले एक समान्तर प्लेट संधारित्र को चित्रानुसार चार परावैधुतों, जिनके परावैधुतांक $K _{1}, K _{2}, K _{3}$ तथा $K _{4}$ है, से भर दिया जाता है तो प्रभावी परावैधुतांक $K$ का मान होगा?
$3$ परावैध्यूतांक तथा $10^{7} V m ^{-1}$ की परावैध्यूत सामर्थ्य वाले एक पदार्थ से $1\, kV$ वोल्टता अनुमतांक के समांतर पट्टिका संधारित्र की अभिकल्पना करनी है। [परावैध्यूत सामर्थ्य वह अधिकतम विध्यूत क्षेत्र है जिसे कोई पदार्थ बिना भंग हुए अर्थात् आंशिक आयनन द्वारा बिना वैध्यूत संचरण आरंभ किए सहन कर सकता है] सुरक्षा की दृष्टि से क्षेत्र को कभी भी परावैध्यूत सामर्थ्य के $10\, \%$ से अधिक नहीं होना चाहिए। $50\, pF$ धारिता के लिए पट्टिकाओं का कितना न्यूनतम क्षेत्रफल होना चाहिए?