यदि तीन आवेश प्रत्येक ‘$q$’ किसी समबाहु त्रिभुज के शीर्षों पर रख दिये जायें तो $l$ सेमी. भुजा वाले इस समबाहु त्रिभुज की कुल स्थितिज ऊर्जा होगी
$\frac{1}{{4\pi {\varepsilon _0}}}\frac{{{q^2}}}{l}$
$\frac{1}{{4\pi {\varepsilon _0}}}\frac{{2{q^2}}}{l}$
$\frac{1}{{4\pi {\varepsilon _0}}}\frac{{3{q^2}}}{l}$
$\frac{1}{{4\pi {\varepsilon _0}}}\frac{{4{q^2}}}{l}$
जब घन के प्रत्येक कोने पर समान आवेश $ - q$ स्थित है। यदि घन की प्रत्येक भुजा की लम्बाई $ b$ है तो इसके केन्द्र पर रखे $ + q$ आवेश की स्थितिज ऊर्जा होगी
दो बिन्दु आवेश $4 q$ व $- q ; x-$अक्ष पर क्रमशः $x =-\frac{ d }{2}$ व $x$ $=\frac{ d }{2}$ पर स्थिर है। यदि एक तीसरे बिन्दु आवेश $'q'$ को मूलबिन्दु से $x = d$ तक अर्धवृत्त के अनुदिश चित्रानुसार ले जाया जाये तो आवेश की ऊर्जा ।
वै त क्षेत्र $E$, $X - $ दिशा में है। यदि $0.2\,C$ के आवेश को $X$-अक्ष के साथ $60^\circ $ का कोण बनाने वाली रेखा पर $2$ मीटर दूर तक चलाया जाये, तो कार्य का मान $4$ जूल है। $E$ का मान ......$N/C$ है
एक पिलैट (Pellet) जिस पर $0.5$ कूलॉम आवेश है, को $2000$ वोल्ट से त्वरित किया जाता है। इसकी गतिज ऊर्जा है
एक इलेक्ट्रॉन को दूसरे इलेक्ट्रॉन की ओर लाने पर निकाय की वैद्युत स्थितिज ऊर्जा