किसी दीर्घवृत्त का अर्द्वलघु अक्ष $OB$ तथा नाभियाँ $F$ और $F'$ हैं तथा कोण $FBF'$ समकोण है तब दीर्घवृत्त की उत्केन्द्रता है
$\frac{1}{4}$
$\frac{1}{{\sqrt 3 }}$
$\frac{1}{{\sqrt 2 }}$
$\frac{1}{2}$
यदि दीर्घवृत्त $\frac{x^{2}}{27}+\frac{y^{2}}{3}=1$ के एक बिंदु पर खींची गई स्पर्श रेखा, निर्देशांक अक्षों को $A$ तथा $B$ पर मिलती है तथा $O$ मूल बिंदु है, तो त्रिभुज $OAB$ का न्यूनतम क्षेत्रफल (वर्ग इकाइयों में) है
माना एक दीर्घवृत्त $\frac{x^2}{a^2}+\frac{y^2}{b^2}=1, a>b$ की नाभियाँ तथा नाभिलंब जीवा की लंबाई क्रमशः $( \pm 5,0)$ तथा $\sqrt{50}$ हैं तो अतिपरवलय $\frac{\mathrm{x}^2}{\mathrm{~b}^2}-\frac{\mathrm{y}^2}{\mathrm{a}^2 \mathrm{~b}^2}=1$ की उत्केन्द्रता का वर्ग बराबर है ..............
यदि किसी दीर्घवृत्त की नाभियों के बीच की दूरी उसकी लघु अक्ष के बराबर हो, तो उसकी उत्केन्द्रता होगी
प्रतिबंधों को संतुष्ट करते हुए दीर्घवृत्त का समीकरण ज्ञात कीजिए
दीर्घ अक्ष, $x-$ अक्ष पर और बिंदुओं $(4,3)$ और $(6,2)$ से जाता है।
दीर्वृघत $\frac{x^{2}}{16}+\frac{y^{2}}{9}=1$ को नाभियो से होकर जाने वाले उस वृत, जिसका केन्द्र $(0,3)$ है, का समीकरण है,