स्टील की एक पतली एवं लम्बी छड़ के दोनों सिरों पर एक संपीडन बल $F$ लगाया जाता है तथा साथ ही छड़ को गर्म करके उसका तापमान $\Delta T$ बढ़ाया जाता है। इससे छड़ की लम्बाई में कुल परिवर्तन शून्य है। माना कि छड़ की लम्बाई $l$, अनुप्रस्थ काट का क्षेत्रफल $A$, यंग प्रत्यास्थता गुणांक $Y$ व रेखीय प्रसार गुणांक $\alpha$ है तो $F$ का मान होगा
${l^2}\,Y\alpha \Delta T$
$lA\,Y\alpha \Delta T$
$A\,Y\alpha \Delta T$
$\frac{{AY}}{{\alpha \Delta T}}$
नीचे चित्र में किसी दिए गए पदार्थ के लिए प्रतिबल-विकृति वक्र दर्शाया गया है। इस पदार्थ के लिए
$(a)$ यंग प्रत्यास्थता गुणांक, तथा
$(b)$ सन्निक पराभव सामर्थ्य क्या है ?
यदि किसी पदार्थ के यंग प्रत्यास्थता गुणांक का मान शून्य है, तो पदार्थ की अवस्था होना चाहिए
प्रत्यास्थता गुणांक विमीय रूप से तुल्य है
एक ही पदार्थ के दो $4$ मी लम्बे तारों के व्यास का अनुपात $n : 1$ है। समान भार आरोपित करने पर पतले तार की लम्बाई में वृद्धि होती है
रबर की डोरी से बनी एक गुलेल की अनुप्रस्थ काट का क्षेत्रफल $25$ मिलीमीटर$^2$ है एवं रबर की डोरी की लम्बाई $10$ सेमी है। $5$ ग्राम के एक कंकड़ को फेंकने के लिए इसे $5$ सेमी तक खींचा जाता है, फिर छोड़ दिया जाता है। प्रक्षेपित कंकड़ का वेग ......... $ms^{-1}$ है $({Y_{rubber}} = 5 \times {10^8}N/{m^2})$