वायु की अवरोधकता $E = 3 \times {10^6}\, V/m$ की वैद्युत तीव्रता पर टूट जाती है। कूलॉम मात्रक में $5$ मी व्यास के गोलाकार को कितना अधिकतम आवेश दिया जा सकता है

  • A

    $2 \times {10^{ - 2}}$

  • B

    $2 \times {10^{ - 3}}$

  • C

    $2 \times {10^{ - 4}}$

  • D

    $2 \times {10^{ - 5}}$

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किसी विद्युत क्षेत्र में संतुलन की अवस्था में इलेक्ट्रॉन के द्वारा अनुभव किया गया विद्युतीय बल उसके भार के तुल्य है, विद्युत क्षेत्र की तीव्रता होगी

${10^{ - 5}}$ सेमी त्रिज्या वाली जल की एक बूँद पर एक इलेक्ट्रॉन का आवेश है। उसे वायु में निलम्बित करने के लिए आवश्यक वैद्युत क्षेत्र की तीव्रता होगी लगभग

($g$ = $10$ न्यूटन/किग्रा, $e$  = $1.6 × 10^{-9}$ कूलॉम)

$a$ भुजा वाले एक समबाहु त्रिभुज के दो कोनों पर दो आवेश प्रत्येक $\eta q({\eta ^{ - 1}} < \sqrt 3 )$ रखें हैं। तीसरे कोने पर विद्युत क्षेत्र ${E_3}$ है। तो क्या सही है $({E_0} = q/4\pi {\varepsilon _0}{a^2})$

एक आवेश से $0.1\,m$ की दूरी पर विद्युत क्षेत्र  $1\,N/C$ है। आवेश का परिमाण होगा

एक पेण्डुलम के गोलक का द्रव्यमान $30.7 \times {10^{ - 6}}\,kg$ है। एवं इस पर आवेश $2 \times {10^{ - 8}}\,C$ है। यह पेण्डुलम $20000\, V/m$ के एकसमान विद्युत क्षेत्र में संतुलन में है। पेण्डुलम के धागे में तनाव होगा $(g = 9.8\,m/{s^2})$