समविभव पृष्ठ तथा विद्युत बल रेखाओं के बीच कोण .......$^o$ है
$0$
$180$
$90$
$45$
धातु की एक पतली चकती अपने केंद्र से गुजरते हुए एक ऊर्ध्वाधर अक्ष के परित: एक समान कोणीय वेग से घूर्णन कर रही है। घूर्णन के कारण चकती के मुक्त इलेक्ट्रॉन पुन: वितरित हो जाते हैं। कोई भी बाह्य विद्युत या चुम्बकीय क्षेत्र अनुपस्थित है। तब
तीन वैद्युत आवेश $4q\,, \,Q$ और $q$ एक सरल रेखा पर $0$, $l/2$ और $l$ स्थिति पर क्रमश: रखे गये हैं। आवेश $q$ पर परिणामी बल शून्य होगा, यदि $Q$ बराबर हो
$R$ त्रिज्या के पतले अर्द्धवलय पर $q$ आवेश एकसमान रूप से वितरित है। वलय के केन्द्र पर विद्युत क्षेत्र है
$a$ तथा $b$ त्रिज्या के दो गोले आवेशित करने के पश्चात एक तार के द्वारा जोड़ दिये जाते हैं। गोलों की विद्युत क्षेत्र की तीव्रताओं का अनुपात होगा
एक आवेश $Q$ को दो भागों में $q$ और $Q - q$ में विभाजित किया जाता है। अलग करने पर दोनों आवेशों के बीच का कूलॉम बल अधिकतम तब होगा जब अनुपात $Q/q$ का मान होगा